🌟 जीवन के इन तीन चरणों में दुखी न हों: 🌟
(1) पहला कैंप: 58 से 65 वर्ष
कार्यस्थल से दूरी।
आप कितने भी सफल क्यों न रहे हों, अंततः आप एक साधारण व्यक्ति कहलाएंगे।
👉 अपने पिछले कार्यों की श्रेष्ठता को छोड़ दें।
(2) दूसरा कैंप: 65 से 72 वर्ष
समाज धीरे-धीरे दूर कर देता है।
दोस्त और सहकर्मी कम होते हैं।
"मैं था..." कहना छोड़ दें। युवा पीढ़ी आपको नहीं पहचानती।
👉 इसे बुरा न मानें!
(3) तीसरा कैंप: 72 से 77 वर्ष
परिवार भी धीरे-धीरे दूर होता है।
बच्चों और नाती-पोतों के बीच अकेलापन।
👉 जब वे आते हैं, तो यह स्नेह की अभिव्यक्ति है।
77+ के बाद:
🌍 धरती आपको अपने में समेटना चाहती है।
इस समय दुखी न हों, यह जीवन का अंतिम चरण है।
इसलिए, जब तक हमारा शरीर सक्षम है, जीवन को भरपूर जिएँ!
🎉 आपका जो पसंद है, वो खाएँ, पीएँ, खेलें, और खुश रहें!
प्रिय वरिष्ठ नागरिक भाइयों और बहनों,
उपरोक्त लेख बहुत प्रेरणादायक है। लेखक को धन्यवाद और बधाई! 🙏
58+ के बाद दोस्तों का एक समूह बनाएं।
📞 संपर्क में रहें, पुराने अनुभव साझा करें।
हमेशा खुश रहें!
🌸 "जीवन का हर पल जिएं, हर पल मुस्कुराएँ।" 🌸